उत्तराखंड में सोमवार से समान नागरिकता संहिता लागू हो गई। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिसूचना जारी करने के साथ समान नागरिक संहिता उत्तराखंड-2024 लागू करने पर नियमावली और पोर्टल का लोकार्पण किया। उत्तराखंड यूसीसी लागू करने वाला देश का पहला राज्य बन गया। राज्य में शादी और लिव-इन के लिए रजिस्ट्रेशन अनिवार्य होगा। शादी की उम्र लड़कियों के लिए न्यूनतम 18 एवं लडक़ों के लिए 21 तय की गई है, चाहे वे किसी भी धर्म से ताल्लुक रखते हों। यूसीसी लागू होने के बाद पूरे राज्य में किसी भी धर्म के लोग एक से अधिक विवाह नहीं कर सकेंगे। बहुविवाह पर रोक लगा दी गई है।मुस्लिम समाज में हलाला को भी बैन कर दिया गया। लिव इन रिलेशनशिप के लिए माता-पिता की स्वीकृति आवश्यक होगी। रजिस्ट्रार के सामने रिलेशनशिप की घोषणा आवश्यक होगी। इस दौरान अगर कोई बच्चा पैदा होता है तो वह संपत्ति में बराबर का हिस्सेदार होगा। अगर दोनों से कोई संबंध को तोडऩा चाहेगा तो इसकी जानकारी देनी होगी। रिलेशनशिप तोडऩे पर महिला गुजारा भत्ते की मांग कर सकेगी। अगर कोई बिना सूचना लिव इन में एक माह से अधिक का समय व्यतीत कर लेता है तो उस पर 10 हजार का जुर्माना लगाया जाएगा।
