संसद का मानसून सत्र समाप्त : काम से ज्यादा हंगामा हुआ

संसद का मानसून सत्र समाप्त : काम से ज्यादा हंगामा हुआ

संसद के मानसून सत्र का आज आखिरी दिन था, जिसकी शुरुआत 21 जुलाई को हुई थी। इस सत्र में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा को छोड़कर, बाकी समय में बहुत कम काम हो पाया। एक महीने तक चले इस सत्र के दौरान लोकसभा ने 12 और राज्यसभा ने 14 विधेयक पारित किए। हालांकि, सदन में लगातार व्यवधान, स्थगन और विपक्षी दलों का बहिष्कार जारी रहा।

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने बताया कि सदन में 120 घंटे का निर्धारित समय था, लेकिन चर्चा सिर्फ 37 घंटे ही हो सकी। दो बार कार्यवाही स्थगित होने के बाद लोकसभा को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया।

राज्यसभा में भी कमोबेश यही हाल रहा। मानसून सत्र के पहले दिन ‘बिल ऑफ लैडिंग बिल 2025’ बिना किसी रुकावट के पारित हुआ। बाकी विधेयक हंगामे के बीच या विपक्षी दलों के बहिष्कार के बाद ही पारित हो सके।

दरअसल, विपक्षी सांसद बिहार एसआईआर (SIR) पर चर्चा की मांग कर रहे थे, जिसके विरोध और हंगामे के कारण दोनों सदनों की कार्यवाही बाधित रही।

पिछले दिन, जब गृह मंत्री अमित शाह ने लोकसभा में तीन बिल पेश किए, तो विपक्ष ने बिल की प्रतियां फाड़कर उन पर फेंक दीं। इस सत्र में, ‘ऑनलाइन गेमिंग प्रमोशन और रेगुलेशन बिल, 2025’ लोकसभा से पारित हुआ, जो ऑनलाइन मनी गेम्स पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाता है।

वहीं, राज्यसभा में असम के गुवाहाटी में 22वां भारतीय प्रबंधन संस्थान (IIM) स्थापित करने के लिए ‘भारतीय प्रबंधन संस्थान (संशोधन) विधेयक, 2025’ पारित हुआ। असम में अगले साल की शुरुआत में चुनाव होने हैं।

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